सरायकेला: जिले की 108 आपातकालीन एम्बुलेंस सेवा एक बार फिर ठप हो गई है। शुक्रवार रात से जिले के 72 एम्बुलेंस चालक और ईएमटी (आपातकालीन चिकित्सा तकनीशियन) इनएक्टिव मोड में चले गए हैं, जिससे स्वास्थ्य सेवाओं पर गंभीर असर पड़ने की आशंका है।
हड़ताल पर गए कर्मचारियों ने बताया कि मार्च माह में सम्मान फाउंडेशन ने एक लिखित समझौते में हर महीने की 15 तारीख तक मानदेय भुगतान का वादा किया था, लेकिन पिछले दो महीनों से उन्हें वेतन नहीं मिला है। इससे उनके सामने भुखमरी की समस्या पैदा हो गई है।
जिला प्रशासन को सौंपा गया ज्ञापन
शुक्रवार को ईएमटी जयप्रकाश कर्मकार के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल जिसमें अरुण महतो, राकेश महतो, अरुण सिंह सरदार, गुलशन गिलुवा और भरत महतो शामिल थे, उन्होंने उपायुक्त और सिविल सर्जन को ज्ञापन सौंपकर सेवाएं बंद करने की जानकारी दी।
जयप्रकाश कर्मकार ने बताया कि कई कर्मचारी अपने बच्चों की स्कूल की फीस तक नहीं चुका पा रहे हैं और घर चलाना भी मुश्किल हो गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि उनसे अनुबंध के विरुद्ध प्रतिदिन 12 घंटे कार्य कराया जा रहा है, जबकि नियमानुसार केवल 8 घंटे काम तय है।
एम्बुलेंस की हालत भी खराब
जिले में सम्मान फाउंडेशन द्वारा संचालित कुल 19 एम्बुलेंसों में से पांच खराब हालत में हैं, जिनकी मरम्मत अब तक नहीं कराई गई है। इसका असर विशेष रूप से ग्रामीण और दूरदराज़ क्षेत्रों की आपात सेवाओं पर पड़ रहा है।
कर्मचारियों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि जब तक बकाया मानदेय का भुगतान और लिखित समझौते को पूरी तरह लागू नहीं किया जाता, तब तक वे सेवाएं बहाल नहीं करेंगे।